पहली बार लड़ा विधानसभा चुनाव और बन गए Rajasthan के CM, कांग्रेस ने लगाया था आरोप
Bhajan Lal Sharma: राजस्थान में नए सीएम को लेकर बीजेपी ने सस्पेंस किया खत्म। भजनलाल शर्मा होंगे राजस्थान के नए मुख्यमंत्री। दीया कुमारी और प्रेमचंद बैरवा को डिप्टी सीएम बनाया गया है। इसके अलावा अजमेर नॉर्थ से विधायक वासुदेव देवनानी को राजस्थान विधानसभा का स्पीकर बनाया गया है। पहले छत्तीसगढ़, फिर मध्य प्रदेश और अब राजस्थान, तीनों राज्यों में भारतीय जनता पार्टी ने केवल नए चेहरों को मुख्यमंत्री पद के लिए चुना। ऐसे में लोगों के मन में ये सवाल है कि क्या बीजेपी ने लोकसभा चुनावों को मद्देनजर रखते हुए ये फैसला लिया है? आखिर बीजेपी का 2024 एजेंडा क्या है? क्या बीजेपी जाति आधारित वोट बैंक खेल रही है?
भाजपा ने मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री के तौर पर मोहन यादव के नाम पर मुहर लगाकर सभी को चौंका दिया था। मोहन यादव उज्जैन दक्षिण विधानसभा सीट से विधायक हैं। यह भी तय किया गया कि मध्य प्रदेश में दो उपमुख्यमंत्री भी होंगे। इनके लिए जगदीश देवड़ा और राजेंद्र शुक्ला का चुना गया। जगदीश देवड़ा मल्हारगढ़ और राजेंद्र शुक्ला रीवा से विधायक हैं। इसके अलावा स्पीकर पद के लिए नरेंद्र सिंह तोमर के नाम का एलान किया गया था। वहीं, छत्तीसगढ़ में भाजपा ने विष्णुदेव साय को मुख्यमंत्री के लिए चुनकर सियासी गलियारे में हलचल मचा दी थी।
छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश की तरह राजस्थान में भी बीजेपी ने बिना सीएम चेहरे के चुनाव लड़ा था। बीजेपी इन चुनावों में पीएम मोदी के चेहरे पर जमीन पर उतरी। राजस्थान में 200 में से 199 सीटों पर हुई वोटिंग में बीजेपी ने शानदार जीत हासिल की है। पार्टी ने 115 सीटों पर जीत हासिल की है। वहीं, 69 सीटों पर कांग्रेस को जीत मिली।
विधायक बने सांसदों के इस्तीफे ने बढ़ा दी थी सरगर्मी
इससे पहले राजस्थान के राजसमंद की सांसद दीया कुमारी, जयपुर के सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौड़, राज्यसभा सदस्य किरोड़ी लाल मीणा और अलवर के सांसद बाबा बालक नाथ ने विधानसभा चुनाव जीतने के बाद इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद से अटकलें लगाई जाने लगी थीं कि पार्टी वसुंधरा राजे के अलावा किसी दूसरे चेहरे पर दांव खेल सकती है।
सीएम की रेस में कई नाम थे शामिल
राजस्थान का रण जीतने के बाद भाजपा के सामने सबसे बड़ी चुनौती यही थी कि सीएम किसे चुना जाए? लेकिन सीएम पद की यह रेस अब थम गई है। इस रेस में कई नाम चल रहे थे। इस लिस्ट में सबसे पहला नाम वसुंधरा राजे का चल रहा था। वो पहले भी राजस्थान की कमान संभाल चुकी हैं। इसके अलावा राजस्थान में हिंदुत्व के पोस्टर बॉय बन गए बाबा बालकनाथ के नाम की भी चर्चा तेज थी और गलियारों में हवा यही थी कि जिस तरह से उत्तर प्रदेश की कमान योगी आदित्यनाथ के हाथों में दी गई है, उसी तरह राजस्थान की कमान योगी बाबा बालकनाथ के हाथों में दी जाएगी। इतना ही नहीं मुख्यमंत्री की रेस में गजेंद्र शेखावत, सीपी जोशी, दीया कुमारी और राजवर्धन राठौड़ जैसे नाम भी रेस में थे अफसोस अब सारे नाम की छंटनी हो गई है। बीजेपी ने सभी उम्मीदों से परे काम किया है और राजस्थान में भजन लाल शर्मा को मुख्यमंत्री पद के लिए घोषित किया है।
भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने राजस्थान में सभी को चौंकाते हुए सीएम पद के लिए भजन लाल शर्मा के नाम पर मुहर लगा दी। जानकारी के मुताबिक, सीएम पद के लिए वसुंधरा राजे ने भजनलाल शर्मा के नाम का प्रस्ताव रखा था। इस पर सभी विधायकों ने सहमति जताई। बीजेपी ने छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश के बाद राजस्थान में भी उस चेहरे को आगे कर दिया, जिसकी चर्चा नहीं थी। विधायक दल की बैठक शुरू हुई, बैठक के दौरान पार्टी के राष्ट्रीय अध्य जेपी नड्डा का राजनाथ सिंह के पास कॉल आया। इसके बाद एक पर्ची पूर्व सीएम वसुंधरा राजे के हाथ में दी गई। इस पर्ची में राज्य के होने वाले सीएम का नाम था। वसुंधरा राजे ने मीडिया के सामने आकर भजनलाल शर्मा के नाम का ऐलान कर दिया। राज्य में अनीता भदले और कैलाश चौधरी को डिप्टी सीएम बनाया गया है।
अशोक लौहाटी का टिकट काटकर भजन लाल को दिया था टिकट
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भजन लाल शर्मा जयपुर की सांगानेर विधानसभा से पहली बार विधायक चुने गए हैं। बीजेपी ने 2023 के विधानसभा चुनाव में वर्तमान विधायक अशोक लौहाटी का टिकट काट कर भजन लाल शर्मा को दिया है। भजन लाल शर्मा ने इस सीट से जीत हासिल की और अब मुख्यमंत्री बनेंगे।
एक नहीं कई केस हैं दर्ज
भजन लाल पर IPC की धाराओं में दो मुकदमे में भी लंबित हैं। इनमें आईपीसी की धारा 353 के तहत एक केस दर्ज है। इसमें (लोक सेवक को उसके कर्तव्य के निर्वहन से रोकने के लिए हमले या आपराधिक बल से संबंधित) वहीं दूसरा केस आईपीसी की धारा 149 के
तहत (सामान्य उद्देश्य के अभियोजन में किए गए अपराध के दोषी गैरकानूनी सभा के प्रत्येक सदस्य से संबंधित) दर्ज है।
भजन लाल शर्मा के पास करोड़ों की सम्पत्ति
राजस्थान के नए सीएम बने भजन लाल शर्मा की नेटवर्थ की बात करें तो ये करोड़पति हैं और इनके पास कुल 1.40 करोड़ रुपये की संपत्ति है, जबकि देनदारी 35 लाख रुपये है। विधानसभा चुनाव में दिए गए संपत्ति के ब्यौरे से संबंधित हलफनामे के मुताबिक, राजस्थान के नए सीएम भजन लाल शर्मा की कुल नेटवर्थ में से 1,15,000 रुपये कैश है, जबकि विभिन्न बैंकों में उनके अकाउंट में करीब 11 लाख रुपये डिपॉजिट हैं। इनके पास तीन तोला सोना है, जिसकी कीमत 1,80,000 रुपये है। इनके पास LIC और HDFC Life की दो इंश्योरेंस पॉलिसियां हैं, जो कि 2,83,817 रुपये की हैं। इसके अलावा वाहनों की बात करें तो नए मुख्यमंत्री के नाम पर एक टाटा सफारी, जिसकी कीमत हलफनामे में 5 लाख रुपये बताई गई है। इसके अलावा एक टीवीएस विक्टर मोटर साइकिल है जिसकी कीमत 35,000 रुपये है।
कांग्रेस ने बाहरी होने का लगाया था आरोप
विधानसभा चुनाव में प्रचार-प्रसार के दौरान कांग्रेस ने भरतपुर के रहने वाले भजन लाल शर्मा पर बाहरी होने का आरोप लगाया था। कांग्रेस ने सांगानेर की जनता से बाहरी प्रत्याशी को वोट न देकर शिकस्त देने की मांग की थी। हालांकि इसके बावजूद भजन लाल शर्मा ने इस सीट से बड़ी जीत दर्ज की। भजन लाल शर्मा संघ और संगठन दोनों के बेहद करीबी माने जाते हैं।
कौन हैं भजनलाल शर्मा?
भजन लाल शर्मा भरतपुर के रहने वाले हैं। बाहरी होने के आरोप के बावजूद उन्होंने सांगानेर से बड़े अंतर से जीत दर्ज की। कांग्रेस के पुष्पेंद्र भारद्वाज को भजन लाल ने 48081 वोटों से हराया। उन्हें संघ और संगठन दोनों का करीबी माना जाता है। वो ब्राह्मण समाज से आते हैं। मुख्यमंत्री पद के लिए पूर्व सीएम वसुंधरा राजे ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा और इस पर सर्वसम्मति से उन्हें मुख्यमंत्री चुन लिया गया। भजन लाल शर्मा के समर्थकों में खुशी की लहर है। भजन लाल शर्मा को संघ और बीजेपी दोनों का करीबी माना जाता है। इस बार के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के पुष्पेंद्र भारद्वाज को उन्होंने 48081 वोटों से हराया है।
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