Uttar Pradesh Lok Sabha Elections 2024: क्या बीजेपी बृजभूषण सिंह को देगी दूसरा मौका? कैसरगंज सीट को लेकर बृजभूषण का इशारा
Uttar Pradesh Lok Sabha Elections 2024: लोकसभा चुनव 2024 कल से शुरु हो रहे हैं। सभी पार्टियों ने लोकसभा सीटों पर अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर ही दी है। कुछ सीटें ऐसी हैं जिस पर बेंच फंसा हुआ है। बीजेपी की ही बात कर लेते हैं। भारतीय जनता पार्टी वैसे तो उत्तर प्रदेश की लगभग ज्यादातर सीटों पर कैंडिडेट्स की घोषणा कर चुकी है, लेकिन अभी भी दो सीटों पर दाव बाकी है। एक सीट है रायबरेली और दूसरी है कैसरगंज। कैसरगंज से सांसद हैं बृजभूषण शरण सिंह। बृजभूषण शरण सिंह के नाम को लेकर अटकलें ज्यों के त्यों बनी हुई है। बृजभूषण की गिनती बीजेपी के दिग्गज नेताओं में होती है फिर भी इस बार पार्टी उन्हें टिकट देने से कतरा रही है। इन्हीं सबके बीच बृजभूषण शरण सिंह ने अपनी चुप्पी तोड़ी है।
होइए वह जो राम रचि राखा
बृजभूषण सिंह ने कैसरगंज सीट से टिकट को लेकर श्रीरामचरितमानस की एक चौपाई का उदाहरण देते हुए कहा कि, “होइए वह जो राम रचि राखा।” बृजभूषण शरण सिंह दो बार गोण्डा, एक बार बहराइच और कैसरगंज लोकसभा सीट से लगातार तीन बार के सांसद हैं। बता दें कि 2008 में UPA सरकार के खिलाफ आए अविश्वास प्रस्ताव पर क्रॉस वोटिंग के आरोप में बीजेपी ने बृजभूषण को पार्टी से निलंबित कर दिया था।
2009 के चुनाव में वह कैसरगंज सीट से सपा के टिकट पर चुनाव मैदान में उतरे थे और जीते भी। 2014 के लोकसभा चुनाव से पहले बृजभूषण बीजेपी में लौट आए और कैसरगंज सीट से ही संसद बने। 2019 में भी वह बीजेपी के टिकट पर सांसद निर्वाचित हुए।
दबदबा तो है, दबदबा तो रहेगा
कैसरगंज सीट उस समय चर्चा में आई जब यहां से सांसद और भारतीय कुश्ती संघ के तत्कालीन अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर महिला पहलवानों ने शोषण करने के आरोप लगाए। महिला पहलवानों द्वारा लगाए आरोपों का यह मामला अभी भी अदालत में चल रहा है। यही वजह है कि बीजेपी फिलहाल इस सीट पर प्रत्याशी घोषित करने से बच रही है।
बता दें कि बृजभूषण का टिकट कटने के पीछे महिला पहलवानों के आरोप और भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) के चुनाव नतीजों के बाद हुई नारेबाजी को वजह बताया जा रहा है। बृजभूषण पर महिला पहलवानों के यौन उत्पीड़न के आरोप लगाए थे और पहलवान दिल्ली में जंतर-मंतर पर धरने पर भी बैठ गए थे। उसके बाद WFI के चुनाव में बृजभूषण समर्थित संजय सिंह अध्यक्ष निर्वाचित हो गए। संजय की जीत के बाद समर्थकों ने बृजभूषण को लेकर नारा दिया था कि ”दबदबा तो है, दबदबा तो रहेगा’ के नारे भी लगाए थे”।
क्या बृजभूषण मिलेगा दूसरा मौका?
दरअसल कैसरगंज सीट पर चुना पांचवें चरण में होना है। इसलिए ऐसा हो सकता है कि बीजेपी शुरू के तीन चरणों के मतदान के बाद ही इस सीट पर फैसला करे। ऐसा भी हो सकता है कि बीजेपी कैसरंगज से बृजभूषण को एक बार फिर मौका दे। खबरें हैं कि बीजेपी कैसरगंज से बृजभूषण की पत्नी को भी मैदान में उतार सकती है।