थम गया Pankaj Udhas की आवाज का जादू, ब्रीच कैंडी अस्पताल में ली आखिरी सांस
Pankaj Udhas: अपनी गजलों से लोगों के दिलों पर राज करने वाले गायक पंकज उधास को लेकर एक दु:ख भरी खबर सामने आई है। 72 साल की उम्र में गायक ने सबको अलविदा कह दिया है। बता दें कि पंकज उधास लंबे समय से बीमार चल रहे थे। अभी दस दिन पहले ही अस्पताल में भर्ती हुए थे। सोशल मीडिया पर बॉलीवुड जगत से लेकर पीएम तक ने सिंगर के निधन पर शोक जताया है।
उम्र संबंधी बीमारियों से जूझ रहे थे
एंटरटेनमेंट जगत से बुरी खबर सामने आई है। सिंगर पंकज उधास अब हमारे बीच नहीं रहे। पंकज उदास की बेटी नायाब उधास ने सिंगर की मौत की खबर सोशल मीडिया पर साझा की है। पोस्ट में उन्होंने लिखा है कि- ”बहुत दुख के साथ हमें ये आपको बताना पड़ रहा है कि पद्मश्री पंकज उधास का 26 फरवरी 2024 को निधन हो गया है। वो लंबे समय से बीमार थे। वो उम्र संबंधी बीमारियों से जूझ रहे थे। 10 दिन पहले अस्पताल में भर्ती हुए थे। उनका अंतिम संस्कार मंगलवार को किया जाएगा।”
ब्रीच कैंडी अस्पताल में ली आखिरी सांस
पंकज उधास के पीआर की तरफ से बयान आया है कि ”गायक पंकज उधास का निधन 26 फरवरी की सुबह करीब 11 बजे ब्रीच कैंडी अस्पताल में हुआ था। लंबे समय से वो बीमार थे। बीते कई दिनों से उनकी तबीयत ठीक नहीं चल रही थी।”
पंकज का जाना एक नुकसान
सिंगर और म्यूजिक कंपोजर शंकर महादेवन ने पोस्ट में लिखा की उनके मुताबिक, ”पंकज का जाना म्यूजित जगत के लिए बड़ा नुकसान है। जिसकी कभी भरपाई नहीं हो सकती।” सोनू निगम ने भी पंकज उधास के निधन पर इमोशनल पोस्ट लिखा है।
सोशल मीडिया पर आखिरी श्रद्धांजलि
गायक के निधन की खबर से म्यूजिक जगत में मातम सा छा गया है। पंकज जैसे गजल गायक का यूं दुनिया छोड़ जाना फैंस के लिए बढ़े ही गम की बात है। हर कोई सोशल मीडिया पर सिंगर को आखिरी श्रद्धांजलि दे रहा है।
स्कूल की प्रार्थना से की शुरुआत
अगर बात करें सिंगर के म्यूजिकल करियर के शुरुआत की तो पंकज उधास ने 6 साल की उम्र से ही गायकी की शुरुआत कर दी थी। वैसे भी उनके घर में संगीतभरा माहौल था। पंकज उधास ने बताया था कि ”संगीत की दुनिया में पहली शुरुआत स्कूल के वक्त प्रार्थना करने से हुई थी।”
गजल गायकी के लिए जाने जाते थे
1980 में उनका पहला एल्बम ‘आहट’ आया। इसमें उन्होंने कई गजलें गाई थीं। वहीं से पंकज उधास अपनी गजल गायकी के लिए फेमस हुए। उनके फेमस गानों में ‘जिएं तो जिएं कैसे बिन आपके…’, ‘चिट्ठी आई है…’, ‘चांदी जैसा रंग है तेरा, सोने जैसे बाल…’, ‘ना कजरे की धार, ना मोतियों के हार…’ शामिल हैं।
पंकज उधास की पर्सनल लाइफ
सिंगर का जन्म 17 मई 1951 को गुजरात के जीतपुर में हुआ था। उनके पिता एक किसान थे। पंकज बहुत सिंपल लाइफ जीते थे। साल 2006 में भारत सरकार ने उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया था। पर्सनल लाइफ की बात करें तो, पंकज ने फारिदा से शादी की। उनकी तीन बेटियां हैं।
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