केंद्र का किसानों को बड़ा तोहफा, विश्व की इस सबसे बड़ी योजना का किया ऐलान
केंद्र की मोदी सरकार किसानों के हित में एक बड़ी योजना लेकर आई है जिससे किसानों को बड़ा फायदा मिलेगा। केंद्र सरकार ने विश्व की सबसे बड़ी अन्न भंडारण योजना (Anna Bhandaran Scheme) का ऐलान किया है। जानकारी के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की अध्यक्षता वाले केंद्रीय मंत्रिमंडल ने बुधवार को इस अहम योजना को मंजूरी दी है।
एक लाख करोड़ की इस योजना (Anna Bhandaran Scheme) में देश के हर ब्लॉक में एक गोदाम बनाया जाएगा जहां पर किसान अपने अनाज को रखकर कर्ज भी ले सकेंगे।
भंडारण क्षमता बढ़कर हो जायेगी 2150 टन
सुत्रों की माने तो देश में अब तक कुल 1450 टन भंडारण की क्षमता है अब इस योजना (Anna Bhandaran Scheme) के तहत किसानों का अनाज खराब होने और उन्हें उचित मूल्य दिलाने के लिए अहम भूमिका निभाएगी। इस योजना के बाद 700 लाख टन भंडारण की क्षमता सहकारिता क्षेत्र में शुरू किया जाएगा।
जिसके बाद भंडारण क्षमता 2150 टन हो जाएगी। इससे देश में खाद्दान्न भंडारण के बढ़ने के साथ ही अनाज के आयात में कमी आएगी। इस योजना के तहत हर ब्लॉक में 2000 टन क्षमता वाले गोदाम बनाए जाएंगे।
विश्व में अनाज के सबसे बड़े उत्पादकों में से एक है भारत
मालूम हो कि भारत विश्व में अनाज के सबसे बड़े उत्पादकों में से एक है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सभी बड़े उत्पादक देशों चीन, अमेरिका, ब्राजील, रूस, अर्जेंटिना आदि के पास अपने कुल उत्पादन से अधिक की भंडारण क्षमता है। लेकिन भारत में अन्न के भंडारण की क्षमता वार्षिक उत्पादन की अपेक्षा महज 47 प्रतिशत ही है। इस कारण देश में अनाज की बर्बादी होती है। मगर इस योजना के लागू होने के बाद अब ऐसा नहीं होगा।
अनुराग ठाकुर ने गिनाए इसके फायदे
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— Office of Mr. Anurag Thakur (@Anurag_Office) May 31, 2023
इस योजना (Anna Bhandaran Scheme) के बारे में बताते हुए केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर (Anurag Thakur) ने कहा कि सरकार के इस कदम का उद्देश्य भंडारण सुविधाओं की कमी से अनाज को होने वाले नुकसान से बचाना, किसानों को संकट के समय अपनी उपज औने-पौने दाम पर बेचने से रोकना, आयात पर निर्भरता कम करना और गाँवों में रोजगार के अवसर सृजित करना है।
अधिक भंडारण क्षमता (Anna Bhandaran Scheme) से किसानों के लिए परिवहन लागत में भी कमी आएगी और खाद्य सुरक्षा मजबूत होगी। साथ ही खरीद केंद्रों तक अनाज की ढुलाई और फिर गोदामों से राशन की दुकानों तक स्टॉक ले जाने में जो लागत आती है, उसमें भी भारी कमी आएगी। इस योजना को सहकारिता मंत्रालय विभिन्न राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों के कम से कम 10 चयनित जिलों में पायलट प्रोजेक्ट की तरह लॉन्च करेगा।
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