Maharashtra News: महाराष्ट्र में सीट शेयरिंग को लेकर तनावपूर्ण हालात, बीजेपी और शिवसेना के फैसले का इंतजार
Maharashtra News: लोकसभा चुनाव को लेकर लगभग सभी राज्यों में पार्टियों ने उम्मीदवारों के नाम की घोषणा कर दी है। वहीं महाराष्ट्र में इस क्रम मे कोई बात बनती नहीं दिखाई दे रहा है। NCP (अजित पवार) को सीट शेयरिंग फॉर्मूले को लेकर लंबा इंतजार करना पड़ रहा है। इसका महज एक ही कारण नजर आ रहा है नासिक और धाराशीव की लोकसभा सीट को लेकर शिवसेना और राष्ट्रवादी के बीच तनावपूर्ण हालात।
घोषणा होने से पहले रद्द
आज यानी सोमवार 1अप्रैल की दोपहर को प्रेस कांफ्रेस कर NCP (अजित पवार) के प्रदेश अध्यक्ष सुनील तटकरे नासिक और धाराशीव की सीट पर उम्मीदवारों की घोषणा करने वाले थे, अचानक से इसे रद्द कर दिया गया। इसका कारण शिवसेना की तरफ से बढ़ता हुआ दबाव बताया जा रहा है।
7 से 8 सीटें पर लड़ने की इच्छा
बता दें कि अभी तक NCP तीन जगहों पर ही अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर पाई है। जिनमे बारामती से अजित पवार की पत्नी सुनेत्रा पवार, शिरुर से शिवाजीराव आढलराव पाटील और रायगड से सुनील तटकरे को बतौर उम्मीदवार उतारा गया है। अजित पवार गुट ने कम से कम 7 से 8 सीटें लड़ने की इच्छा जाहीर की थी जिनमे भंडारा गोंदिया और गडचिरोली सीट भी शामिल हैं। बीजेपी ने वहां पर अपने सिटिंग सासंदों को मैदान में उतारा है।
नासिक लोकसभा का मामला
नासिक लोकसभा चुनाव क्षेत्र से मौजूदा सांसद हेमंत गोड से चुनाव लड़ना चाहते हैं, लेकीन इस सीट पर NCP ने दावा किया है और वहां से OBC के बड़े नेता छगन भुजबल को मैदान मे उतारने की तैयारी की है।
इस पर NCP नेताओं ने कहा है कि,‘’नासिक लोकसभा में आने वाली छह विधानसभा सीटों में से दो पर राष्ट्रवादी के विधायक हैं, और बाकी तीन जगहों पर बीजेपी के विधायक इसलिए यह सीट राष्ट्रवादी को मिलनी चाहिए’’।
नासिक सीट पर सबकी निगाह टिकी
वहीं 2009 में इसी सीट से छगन भुजबल के भतीजे समीर भुजबल लोकसभा चुनाव के लिए उम्मीदवार चुने गए थे। लेकीन अब इस सीट पर शिवसेना सांसद हेमंत गोडसे ने हक जताया है और किसी भी हालत मे सीट हाथ से ना निकल जाए इसलिए वह पिछले एक हफ्ते तक सीएम के सरकारी आवास के चक्कर काट रहे हैं।
धाराशीव सीट का मामला
बता दें कि धाराशीव लोकसभा चुनाव क्षेत्र से NCP अपना उम्मीदवार मैदान मे उतारना चाहती है। मौजूदा सांसद ओमराजे निंबालकर ठाकरे गुट के साथ हैं और शिवसेना के खिलाफ यह सीट एनसीपी ही लड़ती आई है, लेकीन अब शिवसेना (शिंदे) और बीजेपी, दोनों इस सीट से चुनाव लड़ना चाहते है।
देखे जाए तो यहां से ओमराजे को टक्कर दे सके, ऐसा कोई उम्मीदवार ना एनसीपी के पास है, ना शिवसेना ( शिंदे ) । अब बीजेपी ने यहां से किसे बतौर उम्मीदवार टिकट देगी यह सोचने वाली बात होगी?