Gotabaya Rajapaksa
Gotabaya Rajapaksa

Sri Lanka Crisis : श्रीलंका के राष्ट्रपति गोटाबाया राजपक्षे (Gotabaya Rajapaksa) देश छोड़कर फरार हो गए हैं. आज उनके इस्तीफे का औपचारिक ऐलान होना है. और उससे पहले राष्ट्रपति देश छोड़कर मालदीव भाग गए हैं. मालदीव के स्थानीय समय के अनुसार, आधी रात 3 बजे राजपक्षे का सैनिक विमान मालदीव की राजधानी माले में लैंड हो गया हैं. इस बीच, प्रदर्शनकारियों ने राजधानी में तीन मुख्य इमारतों, राष्ट्रपति भवन, राष्ट्रपति सचिवालय और प्रधानमंत्री के आधिकारिक निवास टेंपल ट्रीज़ पर अपना कब्जा बरकरार रखा है.

जेल से बचने के लिए राजपक्षे ने छोड़ा देश

Gotabaya Rajapaksaराष्ट्रपति रहते हुए गोटाबाया (Gotabaya Rajapaksa) को विशेष अधिकार मिला हुआ है, जिसके तहत उनकी गिरफ्तारी असंभव थी. लेकिन जब वह इस्तीफा दे देंगे तो उसके बाद यह तय है कि पब्लिक के दबाव में उन्हें जेल जाना पड़ सकता था. इसी से बचने के लिए वह देश छोड़कर भाग गए हैं. बहरहाल श्रीलंका एयर फोर्स ने इस बात की पुष्टि भी की है कि राष्ट्रपति को दिए गए अधिकारों के तहत रक्षा मंत्रालय से मंजूरी लेने के बाद राजपक्षे (Gotabaya Rajapaksa) को विमान उपलब्ध कराया गया था. जो विमान उन्हें (Gotabaya Rajapaksa), उनकी पत्नी और दो बॉडी गार्ड को लेकर मालदीव के लिए रवाना हो गया.

लोगों में गुस्सा है राजपक्षे के खिलाफ

Gotabaya Rajapaksaदेश की अर्थव्यवस्था को न संभाल पाने के कारण लोगों में राजपक्षे के खिलाफ गुस्सा है. यह गुस्सा इतना है कि कुछ दिन पहले प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति भवन पर कब्जा जमा लिया था. जिसके बाद से, गोटाबाया (Gotabaya Rajapaksa) नेवल शिप में छिपे हुए थे. इमिग्रेशन अफसरों के मुताबिक, राजपक्षे (Gotabaya Rajapaksa), उनकी पत्‍नी और बॉडी गार्ड ने अंतरराष्‍ट्रीय एयरपोर्ट से उड़ने वाले सैन्‍य विमान एंटोनोव32 में बैठे थे. हालांकि इससे पहले भी राजपक्षे परिवार ने देश छोड़ने की कोशिश की लेकिन उसमें उन्हें सफलता नहीं मिल पाई थी.

20 जुलाई को हैं राष्ट्रपति चुनाव

Gotabaya RajapaksaSri Lanka Crisis : इस बीच, श्रीलंका के राजनीतिक दलों ने एक सर्वदलीय सरकार बनाने तथा दिवालिया हो चुके देश को अराजकता में आगे बढ़ने से रोकने के लिए 20 जुलाई को नए राष्ट्रपति का चुनाव करने के लिए प्रयास तेज कर दिए हैं. राजनीतिक दलों ने संभावित उम्मीदवारों के समर्थन के लिए प्रचार अभियान शुरू कर दिया है.

श्रीलंका के संविधान के तहत, यदि राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री दोनों इस्तीफा देते हैं, तो संसद का अध्यक्ष अधिकतम 30 दिन के लिए कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में कार्य कर सकता है. संसद अपने सदस्यों में से 30 दिन के भीतर एक नए राष्ट्रपति का चुनाव करेगी, जो वर्तमान कार्यकाल के शेष दो वर्षों के लिए पद धारण करेगा.

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