विश्व क्रिकेट में वो 5 मौके, जब बल्ले के कारण छिड़ गया विवाद, एलुमुनियम के बैट के साथ उतरा था एक बल्लेबाज
इंटरनेशनल क्रिकेट में गेंद की वजन से लेकर, बल्ले (Cricket Bat) की लम्बाई और चौड़ाई के लिए एक निश्चित पैमाना सेट किया गया है. हालाँकि हमेशा से ऐसा नही रहा है. इन नियमों में समय-समय पर फेरबदल होते रहते है. क्रिकेट के कुछ नियमों को लेकर कई सारे विवाद भी हुए हैं. इसमें सबसे ज्यादा विवाद जिस चीज को लेकर हुआ है, वो है क्रिकेट बैट (Cricket Bat) .
क्रिकेट के मैदान पर कुछ मौको पर खिलाड़ी एक ऐसे बैट के साथ क्रीज पर उतरे, जो बिल्कुल नियम के खिलाफ था. दर्शकों को इन अजीबोगरीब बल्ले ने काफी रोमांचित किया. वही इन बल्लो को लेकर काफी विवाद भी हुआ. आज के इस आर्टिकल में हम आपको ऐसे ही 5 उन बल्लो के बारे मे बतायेंगे, जिसको लेकर काफी विवाद हुआ था
डेनिस लिली का एलुमुनियम बैट
ऑस्ट्रेलिया के महान तेज गेंदबाज डेनिस लिली (Denis Lily) इंग्लैंड के खिलाफ एक अजीबोगरीब बल्ले (Cricket Bat) के साथ बल्लेबाजी करने आए थे. इस मैच में लिली का यह बल्ला एल्यूमीनियम का था. इससे कुछ दिन पहले भी वो वेस्टइंडीज के खिलाफ इसी बल्ले को लेकर बल्लेबाजी कर चूके थे. इस बल्ले से गेंद काफी जल्दी खराब हो रही थी. ऐसे में इंग्लैंड के कप्तान ने उनके इस बल्ले के इस्तेमाल का विरोध किया. फिर उन्हे बैट बदलना पड़ा.
मैथ्यू हेडन का मोंगूज बैट
चेन्नई सुपर किंग्स के लिए खेलने वाले ऑस्ट्रेलिया के महान बल्लेबाज मैथ्यू हेडन (Mathew Hayden) 2010 के आईपीएल मे एक ऐसे बैट (Cricket Bat) के साथ बल्लेबाजी के लिए उतरे, जिसमे हैंडिल बैट के हिट करने वाले हिस्से से ज्यादा बड़ा था. उस समय पर उसके बाद कई बल्लेबाजों ने इस बल्ले का उपयोग किया. इस तरह के बल्ले को मोंगूज बैट कहा जाता है.
इस बैट की मदद से मैथ्यू हेडन ने आईपीएल के एक मैच मे 43 गेंदों पर 93 रन की आतिशी पारी खेली, हालांकि इस बैट से हिट करना जितना ही आसान है, उतना ही डिफेंस करना मुश्किल था, जिसके वजह से इस बैट का इस्तेमाल बहुत कम हो गया था. और अब यह पूरी तरह से बंद हो गया है.
3. क्रिस गेल का गोल्डन बैट
ऑस्ट्रेलिया में खेली जाने वाली टी20 लीग बीबीएल (BBL) में एक समय रंगीन बल्लो के उपयोग करने की मंजूरी थी. फिर क्या देर थी, यूनिवर्स बॉस के नाम से मशहूर वेस्टइंडीज के क्रिस गेल (Chris Gayle) ऐसे ही एक कलर फुल बल्ले (Cricket Bat) के साथ मैदान पर उतर गए. वह रंगीन बैट का इस्तेमाल करने वाले पहले खिलाड़ी थे. गेल गोल्डन कलर के बल्ले के साथ मैदान पर आए थे और विरोधियों के खूब छक्के छुड़ाए. बहुत से लोगों का मानना था इस बैट के अंदर मेटल है.
बीबीएल में वेस्टइंडीज के एक और खिलाड़ी आंद्रे रसल (Andre Russell) भी रंगीन बल्ले से खेल चूके है. उनके बल्ले का रंग काला था. जिसको लेकर काफी विवाद हुआ था. लेकिन बाद में कुछ शर्तों के बाद रसेल को क्रिकेट आस्ट्रेलिया ने बल्ले के दोबारा इस्तेमाल की अनुमति दे दी थी.
रिकी पॉन्टिंग का ग्रेफाइट बैट
ऑस्ट्रेलिया के पूर्व महान कप्तान रिकी पोंटिंग (Ricky Ponting) साल 2004 में पाकिस्तान के खिलाफ एक टेस्ट मैच मे एक ऐसे बल्ले (Cricket Bat) के साथ बल्ल्बाजी की थी, जिसमे बैट की निर्माता कंपनी कोकोबुरा ने कार्बन ग्रेफाइट की परत लगाई थी. इस बल्ले का इस्तेमाल करते हुए पॉन्टिंग ने दोहरा शतक जड़ दिया था.
जब पाकिस्तान के खिलाड़ियों की आपति जताने पर एमसीसी ने बल्ले की जांच की तो उन्होंने पाया कि, यह बल्लेबाजों का काम आसान करती है, जिसके बाद इस बल्ले के उपयोग पर बैन कर दिया गया था. और पोंटिंग को पारंपरिक बल्ले से बल्लेबाजी के लिए कहा गया.
थॉमस व्हाइट मॉन्सटर बैट
यह बल्ला अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के शुरू होने से पहले ही सुर्खियों में आया था. इस बल्ले का इस्तेमाल क्रेस्टी और हेंबलटन टीमों के बीच खेले गए मुकाबले में किया गया था. क्रिस्टी के बल्लेबाज थॉमस व्हाइट (Thomas White) का बल्ला (Cricket Bat) इतना चौड़ा था कि बल्लेबाज को आउट करना मुश्किल ही नही बल्कि नामुमकिन जैसा था. इस बल्ले को देखने के बाद ही बल्ले के आकार को लेकर नियम बनाए गए कि बल्ला इस सीमित आकार से बड़ा और चौड़ा नहीं होना चाहिए.